e shikshakosh अप्लीकेशन से राज्य लाखो शिक्षक है काफ़ी परेशान, ससमय विद्यालय पहुंचने पर भी ससमय ऑनलाइन नहीं बनती है हाजरी, शिक्षकों को सता रहा है वेतन कटने का डर

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e shikshakosh अप्लीकेशन से राज्य लाखो शिक्षक है काफ़ी परेशान, ससमय विद्यालय पहुंचने पर भी ससमय ऑनलाइन नहीं बनती है हाजरी, शिक्षकों को सता रहा है वेतन कटने का डर

 

 

शिक्षा विभाग ने सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए ऑनलाईन हाजिरी की व्यवस्था शुरू की है. इसके लिए ई-शिक्षा कोष APP लाया गया है. इस एप्प पर ऑनलाईन हाजिरी दर्ज करने का नियम लागू किया गया है.

ऑनलाईन हाजिरी के आधार पर ही 1 अक्टूबर 2024 से शिक्षकों का वेतन मिलेगा. लेकिन यहां तो ऑनलाईन हाजिरी में भी खेल शुरू हो गया है. ई-शिक्षा कोष ऐप पर ऑनलाइन हाजिरी गुरुजी पर भारी पड़ने लगी है।

राज्य के लाखो शिक्षक e shikshakosh एप्लीकेशन से काफी परेशान दिख रहे हैं ससमय स्कूल पहुंचने के बावजूद भी शिक्षकों का ऑनलाइन हाजिरी ससमय नहीं बन पा रहा है इससे शिक्षकों को काफी परेशानी हो रही है उन्हें डर लग रहा है कि कहीं वेतन भी ना कट जाए

इसलिए उन्होंने शिक्षा विभाग के स्क से गुहार लगाई है कि ऑनलाइन हाजिरी बनाने की प्रक्रिया में राहत दी जाए वेतन का भुगतान ऑफलाइन हाजिरी के आधार पर ही किया जाए क्योंकि ऑनलाइन हाजिरी शिक्षकों का समय नहीं बनता रहा है

शिक्षा विभाग द्वारा की गई व्यवस्था से वैसे शिक्षक परेशान हैं, जो समय के पाबंद नहीं हैं. क्यों कि यह ऐप शिक्षकों की लगातार निगरानी कर रहा है। उनके स्कूल आने और छोड़ने के समय की निगरानी की जा रही है. बांका में ऐसे की मामले को डीएम अंशुल कुमार ने पकड़ा है. मंगलवार को समाहरणालय में शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी ने समय से पूर्व लगातार विद्यालय छोड़ने वाले 48 शिक्षकों को चिह्नित करते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई का आदेश दिया है. बांका डीएम के आदेश पर डीपीओ स्थापना राज कुमार राजू ने ऐसे 48 शिक्षकों से स्पष्टीकरण मांगा है. समय से पूर्व स्कूल छोड़ने वाले शिक्षकों को 24 घंटे के अंदर स्पष्टीकरण का जवाब देने को कहा गया है. जवाब संतोषजनक नहीं पाये जाने पर उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई शुरु की जाएगी। समीक्षा में डीएम को बताया गया कि 96 प्रतिशत विद्यालयों में शिक्षक आनलाइन हाजिरी बना रहे हैं। डीएम ने स्कूल इन और आउट पर लगातार कड़ी नजर रखकर हर पक्ष में प्रतिवेदन की मांग की है.

शिक्षा विभाग ने सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए ऑनलाईन हाजिरी की व्यवस्था शुरू की है. इसके लिए ई-शिक्षा कोष APP लाया गया है. इस एप्प पर ऑनलाईन हाजिरी दर्ज करने का नियम लागू किया गया है. 1 अक्टूबर 2024 से ऑनलाईन हाजिरी के आधार पर ही शिक्षकों का वेतन मिलेगा. लेकिन यहां तो ऑनलाईन हाजिरी में भी खेल शुरू हो गया है. एप्प में छेड़छाड़ शुरू हो गई है. आखिर गुरूजी..किसी से कम हैं क्या…फरार रहने का इन्हें हक जो मिला हुआ है. ऐसे ही एक मामले का खुलासा हुआ है. खुलासे के बाद आरोपी शिक्षिका और प्रधान शिक्षक को मंगलवार को निलंबित कर दिया गया है. मामला पूर्वी चंपारण जिले के कोटवा प्रखंड के जसौली पट्टी मठ माधो प्राथमिक विद्यालय का है. खेल में शामिल शिक्षिका मित्रविन्दा कुमारी एवं प्रधान शिक्षक निरंजन कुमार सिंह तो निलंबित हुए हीं, कोटवा प्रखंड के बीईओ उपेन्द्र कुमार के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की गई है. जिला शिक्षा पदाधिकारी पूर्वी चंपारण ने आरोपी बीईओ के खिलाफ आरोप पत्र गठित कर निदेशक प्राथमिक शिक्षा को भेजा है.बीईओ के खिलाफ आठ आरोप लगे हैं, जिसमें शिक्षिका की एप्प पर गलत तरीके से उपस्थिति दर्ज कराने में भूमिका समेत अन्य आरोप हैं. अब मुख्यालय स्तर से आरोपी बीईओ उपेन्द्र कुमार सिंह के खिलाफ विभागीय कार्यवाही होगी. वहीं, प्रखंड परियोजना प्रबंधक कोटवा नीरज कुमार जिन्हें उक्त स्कूल के निरीक्षण का जिम्मा दिया गया था, इनकी लापरवाही भी पाई गई है. लिहाजा जिला शिक्षा पदाधिकारी मोतिहारी ने आरोपी परियोजना प्रबंधक नीरज कुमार की सेवा को वापस कर दिया है.

पूर्वी चंपारण जिले के कोटवा प्रखंड के जसौली पट्टी मठ माधो प्राथमिक विद्यालय में एक शिक्षिका ने बड़ा खेल किया है. इस खेल में प्रधान शिक्षक ने भी सहयोग किया. यहां की शिक्षिका मित्रविन्दा कुमारी एवं प्रधान शिक्षक निरंजन कुमार सिंह को शिक्षक आचरण के प्रतिकूल कार्य करने,स्वेच्छाचारिता, अनुशासनहीनता बरतने के साथ-साथ विभाग के साथ धोखाधड़ी करने के आरोप में तत्काल प्रभाव से निलंबित कर करने का आदेश दिया गया .इस संबंध में पूर्वी चंपारण के जिला कार्यक्रम पदाधिकारी स्थापना ने ग्राम पंचायत शिक्षक नियोजन समिति जसौली पट्टी प्रखंड कोटवा के पंचायत सचिव को पत्र लिखा. इसके बाद आज 24 सितंबर को आरोपी महिला टीचर और प्रधान शिक्षक को निलंबित करने का आदेश जारी हो गया है.

बता दें, शिकायत मिलने के बाद मोतिहारी के जिला शिक्षा पदाधिकारी ने 14 सितंबर 2024 को विद्यालय का औचक निरीक्षण किया था. निरीक्षण के दौरान ई- शिक्षा कोष पोर्टल पर जांच कराई गई.जिसमें पाया गया कि अगस्त माह में मित्रविन्दा कुमारी शिक्षिका द्वारा इस शिक्षा एप्प पर जो उपस्थिति दर्ज की गई है, उसमें इनके द्वारा एप्प में छेड़छाड़ कर उपस्थिति दर्ज कराई गई है. कई दिन विद्यालय से अनुपस्थित रहने के बाद भी एप्प पर उनके द्वारा उपस्थिति दर्ज की गई है. ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज कराने में विद्यालय के प्रधान शिक्षक निरंजन कुमार सिंह की भूमिका है,साथ ही संलिप्तता भी है. मित्रविन्वृंदा कुमारी द्वारा की शिक्षा कोष ऐप पर उपस्थिति फोटो को एडिट कर बनाने के साथ-साथ विद्यालय से बाहर रहते हुए ऐप से छेड़छाड़ कर अपनी उपस्थिति बनाया गया.

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